संत लालदास जी का जीवन परिचय 2024 | लालदासी संप्रदाय | इतिहास
संत लालदास जी का जीवन परिचय 2024 | लालदासी संप्रदाय | इतिहास , लालदास जी का जन्म कब और कहां हआ ? , लालदास जी के माता-पिता का क्या नाम है? , लालदास जी के गुरु का क्या नाम है ?
संत लालदास जी का जीवन परिचय 2024 | लालदासी संप्रदाय | इतिहास
लालदास जी का नाम मध्यकाल के मेवात क्षेत्र के सर्वाधिक लोकप्रिय संतों में शामिल है। इनका जन्म 1540 ईस्वी में अलवर जिले के धौलीदूव गांव में हुआ था। इनके पिता का नाम चांदमल तथा माता का नाम समदा देवी था।
लालदास जी के उपदेश मेवाती बोली में संकलित है। इन्होंने मुगल शासक औरंगजेब के बादशाह बनने की भविष्यवाणी की थी। लालदास जी मुगल शासक हुमायूं, अकबर, शेरशाह सूरी, जहांगीर तथा शाहजहां के समकालीन थे।
संत लालदास जी ने लालदासी संप्रदाय की स्थापना की थी। जिसकी प्रमुख पीठ भरतपुर जिले के नगला जहाज नामक स्थान पर है। इस संप्रदाय के अधिकांश अनुयायी मेव जाति के होते हैं। तथा कमाकर खाने में विश्वास रखते हैं।
इनकी प्रमुख रचना “लालदास जी री चेतावनी” है। जिसे लालदास जी ने मेवाती बोली में लिखा था।
लालदास जी का समाधि स्थल शेरपुर गांव (अलवर) में है। तथा इनका देहांत 1648 ईस्वी में हुआ था।
लालदास जी के गुरु का क्या नाम है ?
संत लालदास जी के गुरु का नाम गद्दन चिश्ती था। जो तिजारा के सुफी संत थे।